अमेरिकियों को मिली 'संजीवनी', भारत से US पहुंची कोरोना के इलाज में कमाल कर रही टैबलेट
- अमेरिका पहुंची HCQ की पहली खेप
- पिछले हफ्ते भारत ने निर्यात से हटाया प्रतिबंध
- ट्रंप ने फोनकर भारत से मांगी थी दवा
कोरोना से जंग में अमेरिका में रामबाण साबित हो रही हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन टैबलेट की एक खेप अमेरिका पहुंच गई है. हाल ही में भारत सरकार ने मानवीय दृष्टिकोण अपनाते हुए इस दवा के निर्यात से पाबंदी हटाई है. मूल रूप से मलेरिया बुखार के इलाज में काम आने वाली ये टैबलेट अमेरिका में कोरोना वायरस के इलाज में बड़ी मददगार साबित हो रही है. अमेरिका ने भारत से जोर देकर इस दवा की मांग की थी.
अमेरिका की मदद को भारत आया आगे
समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक इसी हफ्ते अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की अपील पर भारत 35.82 लाख हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन टैबलेट अमेरिका को निर्यात करने पर राजी हुआ था. इसके अलावा इस दवा को बनाने में काम आने वाली एपीआई (Active pharmaceutical ingredient) की 9 लाख मात्रा भी भारत अमेरिका को देने पर सहमत हुआ है. बता दें कि अमेरिका में कोरोना वायरस की वजह से 20000 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि लगभग 5 लाख 30 हजार लोग संक्रमित हो चुके हैं.

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